समय का परिवर्तन - My Jiwan Yatra(Manglesh Kumari )

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समय का परिवर्तन

एक बुढ़िया थी। वह रोज माता के मंदिर के सामने खड़ी भीख माँगती थी। एक बार एक संत ने पूछा - आपका बेटा लायक है, फिर यहाँ क्यों बेठी हो और भीख माँग...


एक बुढ़िया थी। वह रोज माता के मंदिर के सामने खड़ी भीख माँगती थी। एक बार एक संत ने पूछा - आपका बेटा लायक है, फिर यहाँ क्यों बेठी हो और भीख माँग रही हो ?  बूढ़ी माता बोली - बाबा, मेरे पति का देहांत हो गया है। मेरा पुत्र परदेस नौकरी के लिए चला गया। जाते समय मेरे खर्चे के लिए कुछ रुपए देकर गया था, वे खर्च हो गये अब मेरे पास कुछ नहीं हैं।  इसीलिए भीख माँग रही हूँ। और मेरा उसके इलवा  इस दुनिया में कोई नहीं है। 

संत ने पूछा - क्या तेरा बेटा तुझे कुछ नहीं भेजता ?
बूढ़ी माता बोली - मेरा बेटा हर महीने एक रंग-बिरंगा कागज भेजता है जिसे मैं दीवार पर चिपका देती हूँ। और रोज अपने बेटे के पत्र को देख कर खुश हो जाती हूँ।  और मेरे दिल को तसल्ली मिल जाती हैं । एक दिन संत  ने कहा क्या मैं तुम्हारे घर आ सकता हूँ ? तो बुढ़िया ने कहा जरूर ।
 
संत ने उसके घर जाकर देखा। तो वह हैरान हो गया  उसे समझ नहीं आ रहा था कि वह उस बुढ़िया को किस तरह बताए कि वो कितनी अमीर हैं। बुढ़िया ने दीवार पर 60 बैंक ड्राफ्ट चिपका कर रखे थे। प्रत्येक ड्राफ्ट₹50,000 राशि का था। बुढ़िया  पढ़ी-लिखी न होने के कारण वह नहीं जानती थी कि उसके पास कितनी संपति है। संत ने उसे ड्राफ्ट का मूल्य समझाया। पर उसे इसके बारे में कुछ भी पता नहीं था।  जब पता चला तो बहुत खुश हुई । हमारी स्थिति भी उस बूढ़ी माता की भाँति ही है। 


और हमारी ज़िंदगी भी उसी बुढ़ियाँ  के समान हैं, हमारी ज़िंदगी में भी मार्गदर्शन के  लिये परमात्मा का होना बहुत जरूरी है। जोकि अन्धेरे से रोशनी की और ले जाये नहीं तो हम भी उस बुढ़िया कि तरह अंधेरे में ही भटकते रहेंगे। और उजाले को पास होते हुए भी नहीं देख पाएंगे ? क्योंकि हमे कोई सही समझाने वाला नहीं हैं। आज हम कितने भाग्य शाली  हैं हमारे परम पिता परमेश्वर जी हम सब के बीच मौजूद हैं ।सही मार्ग बताने के लिये सत लोक से चलकर आये हैं ।शब्द रूपी ज्ञान को समझ कर उनके बताये हुये रास्ते पर चले 
यही जीवन का सत्य है। मालिक अपनी बिशेष आत्माओं को डूड रहे हैं ।
यूनिवर्सल परम पिता परमेश्वर जी मैं शुक्र गुज़ार हूँ ।आप का  हमारा नाता युगों युगों का हैं आप सब कुछ जानते हैं ,हम अज्ञानीयों का मार्ग दर्शन करें ।मैं सदैव आप जी की ऋणी हूँ ,
चरण स्पर्श ,नमन वंदन ,बहुत बहुत तहें दिल से धन्यवाद ।
मैं भाग्य शाली हूँ ,आप जी का प्यार पल पल मेरे साथ हैं ,ऐसा अनुभव तत्व ज्ञान से महसूस हुआ है ,मालिक जी की कृपा से ।एक दिल हैं,एक जान हैं,दोनों ही सतगुरु पर 
क़ुर्बान हैं।असली दोस्त सद्गुरू होना चाहिये, जो  ख़ुशियों में गुणा कर दे ,दुःखों में भाग दे 
 बुराइयों को घटा दे और  सत्य भक्ति को जोड़ दे ।God Kabir is the giver of complete Happiness.

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